बिहारशरीफ में डीएम का औचक निरीक्षण , 31 कर्मचारियों पर गिरी गाज.. पूरी लिस्ट देखिए

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नालंदा के जिलाधिकारी योगेंद्र सिंह ने एक बार फिर अपने अंदाज में औचक निरीक्षण किया. वे बिना किसी पूर्व सूचना के बिहारशरीफ के पीएचईडी दफ्तर पहुंच गए. डीएम साहब के पहुंचते ही पीएचईडी कार्यालय में हड़कंप मच गया. दफ्तर में आधे से ज्यादा कर्मचारी गायब थे. साथ ही कई गड़बड़ियां भी पकड़ी

दो दिन पहले का अटेंडेंस लगा रखा था
डीएम योगेंद्र सिंह जैसे ही पीएचईडी दफ्तर पहुंचे . वैसे ही उन्होंने उपस्थिति पंजी देखा. जिसके मुताबिक क्लर्क से लेकर इंजीनियर तक 31 अनुपस्थित पाए गए। लेकिन किशोरी प्रसाद नामक एक कर्मचारी ने तो हद ही कर रखा था उसने 22 अप्रैल तक का अटेंडेंस बना रखा था और ड्यूटी से लापता था। डीएम ने मामले को गंभीरता से लेते हुए तत्काल सभी का वेतन बंद कर स्पष्टीकरण की मांग की है। उन्होंने कहा कि स्पष्टीकरण संतोषजनक नहीं पाए गए तो विभागीय कार्रवाई भी की जाएगी।

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12 शिकायतों में से सिर्फ 5 का निष्पादन हुआ
डीएम ने मौजूद सहायक अभियंता से गर्मी के मौसम में पेयजल संकट न हो इसके लिए सचेत रहने को कहा। डीएम स्वास्थ्य अभियंत्रण विभाग द्वारा स्थापित कंट्रोल रूम में दर्ज शिकायतों का अवलोकन किए। जहां देखा कि 15 अप्रैल को 12 चापाकल खराब होने की शिकायत लोगों ने दर्ज कराई थी। जिसमें से 5 शिकायतों का अनुपालन किया गया।

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उसी प्रकार 16 अप्रैल 6 शिकायत तथा 18 अप्रैल को 9 शिकायत दर्ज कराया गया था। लेकिन एक भी शिकायत का अनुपालन नहीं हुआ था। वहीं अवकाश के दिन नियंत्रण कक्ष बंद देख डीएम ने गहरी नाराजगी जताई। उन्होंने बताया कि नियंत्रण कक्ष में जिन लोगों ने शिकायत दर्ज कराई थी उसमें अधिकांश चापाकल खराब होने की है। डीएम ने कहा कि चापाकल मरम्मति के लिए युद्धस्तर पर कार्रवाई सुनिश्चित की जाय।

कौन कौन कर्मचारी गायब मिले
पीएचइडी कार्यालय में जो कर्मचारी गायब मिले उसमें मो. युशुफ हसन वरीय लेखा लिपिक, संजय कुमार सुमन लेखा लिपिक, नवीन कुमार रावत और पवन कुमार निम्न वर्गीय लिपिक, अनु असिताभ आनंद और नवीन कुमार ठाकुर निम्न लिपिक, रामबाबू राम अनुसेवक, रजनीकांत झा कोष रक्षक, संजय चौहान आदेशपाल शामिल थे.

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इसके अलावा मुकेश कुमार परिचारी, सच्चिदानंद प्रसाद दफ्तरी, विजेन्द्र सिंह जल लेखा निरीक्षक, मदन प्रसाद नल योजक, नरेन्द्र मिश्रा नलकूप खलासी तथा मो. असगर व विजय कुमार प्लामिगर खलासी भी बिना हाजिरी बनाए ड्यूटी से फरार थे।

वहीं अवधेश पाठक, किशोरी प्रसाद, इंद्रदेव राम, रमेश प्रसाद, रामप्रवेश डोम, राजेन्द्र राम, मितनचन्द्र कर्मकार, अभय शंकर कुमार, रामबिलास प्रसाद और अनुग्रह प्रसाद कुंजीपाल सह चौकीदार गायब पाए गए थे। इसमें से किशोरी प्रसाद ने हद करते हुए 22 अप्रैल तक का हाजिरी बनाकर ड्यूटी से गायब था।

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उर्मिला देवी और प्रशाखा परिचारी उमेश राम भी नदारत पाए गए। कुंती देवी परिचारी भी अनुपस्थित थी। वहीं जगदीश माली प्लामिबर खलासी, रामजी प्रसाद नलकूप खलासी भी अनुपस्थित पाए गए थे।

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