
नालंदा और पटना जिले की कई नदियों खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। जिसकी वजह से पटना और नालंदा के कई गांव बाढ़ मे डूब गए हैं । हालात ये है कि अब नालंदा जिला के मुख्यालय बिहारशरीफ का पटना से संपर्क टूट गया है । नेशनल हाइवे 31A के ऊपर बाढ़ का पानी बह रहा है ।
दनियावां रुट पर यातायात बंद
गंगा, पुनपुन, दरघा और कररूआ नदियों का जलस्तर खतरे के निशान के ऊपर चला गया।साथ ही सोन नदी का जलस्तर भी काफी तेजी के साथ बढ़ रहा है। एनएच 31A पर दनियावां के पास बाढ़ का पानी चढ़ गया है। जिसकी वजह से दनियावां-बिहारशरीफ के बीच एनएच पर गाड़ियों का परिचालन बंद करना पड़ा है। फल्गु की सहायक नदियों के जलस्तर में वृद्धि के कारण इस इलाके में एनएच पर पानी चल गया है।
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पटना में भी बाढ़ का खतरा
राजधानी पटना पर बाढ़ का खतरा मंडराने लगा है गांधी घाट पर गंगा नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। गांधी घाट पर खतरे का निशान 48.60 मीटर है जबकि यहां गंगा का जलस्तर 48.66 मीटर जा पहुंचा है। आज इसमें और ज्यादा इजाफा होने की उम्मीद है। 4 अगस्त तक गंगा का जलस्तर यहाँ लगभग 50 मीटर के आसपास पहुंच जाएगा।
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निचली इलाकों में घुसा पानी
नदियों के जलस्तर में अचानक से वृद्धि होने के कारण पटना के कई निचले इलाकों में बाढ़ का पानी फैलने लगा है। पुनपुन नदी का जलस्तर पिछले 24 घंटे में 2.16 मीटर बढ़ा है जबकि दरधा नदी का जलस्तर 1.70 मीटर बढ़ा है। गंगा का जलस्तर बढ़ने के कारण कुर्जी मोड़ के पास बिंद टोली का संपर्क बाकी इलाकों से टूट गया है जबकि दारधा नदी का पानी कोल्हाचक, सतपरसा, गुलरिया, रूपसपुर आदि इलाकों में तटबंध के ऊपर से बह रहा है। तटबंध की मरम्मती का काम प्रशासन की तरफ से जारी है लेकिन इसके बावजूद कई इलाकों में पानी फैला है।
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मसौढ़ी में घुसा पानी
मसौढी प्रखंड के निचले गांवों में बाढ़ का पानी घुस चुका है। 2 दर्जन से अधिक के घर महुआबिगहा में बाढ़ से प्रभावित हुए हैं जबकि बर्रा पंचायत के कई गांवों में भी खेत के अंदर बाढ़ का पानी घुस गया है। पटना के गांधी घाट पर भी गंगा नदी का पानी ऊपर चढ़ चुका है।